सिक्किम में भारी बर्फबारी के बाद भारतीय सेना ने 2500 पर्यटकों को नाथू ला से रेस्क्यू किया. . राहत और बचावकार्य कर इन लोगों को खाना, शेल्टर और दवाइयां मुहैया कराई गईं.
गंगटोक
भारतीय सेना ने सिक्किम के नाथूला में 400 गाड़ियों में फंसे 2500 नागरिकों को भारी बर्फबारी के बीच से निकाला। सभी लोगों को रात को ही खाना, शेल्टर और मेडिकल केयर मुहैया कराई गई। यह इलाका 17 मील और नाथू ला के बीच जवाहरलाल नेहरू मार्ग का है जहां 28 दिसंबर 2018 को भारी बर्फबारी हुई थी। इसमें 300-400 गाड़ियां 17 मील के पास फंस गईं।
इन गाड़ियों में करीब 2500 पर्यटक फंस गए। ये लोग इंडो-चीन बॉर्डर के नजदीक नाथू ला पास घूमने गए थे। भारतीय सेना ने फौरन ऐक्शन लेते हुए फंसे हुए पर्यटकों के लिए राहत और बचाव कार्य शुरू कर दिया। इन लोगों को खाना, शेल्टर, गर्म कपड़े और दवाइयां मुहैया कराई गईं। पर्यटकों में महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग भी शामिल थे।
करीब 1500 पर्यटकों को 17 मील पर ठहराया गया है जबकि बाकी पर्यटकों को 13 मील पर। भारतीय सेना ने बर्फ हटाने और सड़क संपर्क जोड़ने के लिए जेसीबी और BRO डोजर के दो सेट दिए हैं। सेना के मुताबिक राहत कार्य तब तक चलता रहेगा जब तक सभी फंसे हुए पर्यटकों को सुरक्षित तरीके से गंगटोक नहीं भेज दिया जाएगा।
शुक्रवार को सिक्किम के बड़े हिस्से समेत दार्जीलिंग व आसपास भारी बर्फबारी हुई। इसका असर सिलीगुड़ी के मौसम पर भी पड़ा है। सिलीगुड़ी का तापमान काफी गिर गया है। देर शाम दार्जीलिंग शहर में दस साल बाद शुक्रवार को बर्फबारी हुई।
गोरखा टेरीटोरिअल अथॉरिटी के चेयरमैन विनय तमांग ने कहा कि शहर में लोग बर्फबारी देख काफी खुश हैं। इससे ठंड के मौसम में भी पर्यटक आएंगे।
उधर गंगटोक में दोपहर में बारिश के साथ ओले गिरे। नॉर्थ सिक्किम व साउथ सिक्किम में कई स्थानों पर भारी बर्फपात हुई। मकान, सड़क, पहाड़, पेड़ आदि सब बर्फ से ढक गए। लाचुंग, नाथुला, रावंगला, सोनादा, लावा, लाचेन में भारी बर्फबारी हुई है।