Fashion

अनूठा फैशन: महिलाएं नाखुनो को सजा रही हैं ज़हरीले बिच्छुओं से

वेब डेस्क

लेकिन क्या आप कल्पना कर सकते हैं तिलचट्टे और छिपकली को देखकर डर जाने वाली  महिलाएं फैशन के लिए बिच्छुओं का इस्तेमाल कर सकती हैं.  बिच्छू जैसा ज़हरीला प्राणी को फैशन के लिए इस्तेमाल करने का अनूठा फैशन लैटिन अमेरिका में तेजी से लोकप्रिय हो रहा है जहां महिलाएं अपने नाखूनों में नेल पॉलिश के बजाए जहरीले बिच्छुओं से सजा रही हैं

यह अनूठा फैशन शुरू हुआ शहर दोरांगो सिटी से और अब लैटिन अमेरिका के कई देशों में लोक प्रिय हो चुका है. इसका श्रेय जाता है लोपिता गार्शिया नामक महिला को. लोपिता सजावटी हस्तशिल्प में बिच्छुओं का उपयोग करने के लिए प्रसिद्ध है. एक दिन वह दोरांगो के एक ‘नील पार्लर’ में बैठी थी जब उसने पार्लर की मालकिन रूसीयो डालीज़ को बिच्छुओं से नाखूनों की सजावट करने का सुझाव दिया.

nail-faishon--3

रूसी को यह सलाह पसंद आई और उसने लोपिता को ही अपने पार्लर में यह सेवा प्रदान करने की पेशकश की जिसे लोपिता ने स्वीकार कर लिया. यह पिछले सितंबर की बात है. महज छह महीने के दौरान हाथों और नाखूनों के सौंदर्यीकरण के इस अजीबोग़रीब शैली की चर्चा मैक्सिको की सीमा से बाहर निकलकर लैटिन अमेरिका में फैल गया. विभिन्न देशों से फैशन की मारी महिलाएं अपने नाखूनों पर बिच्छू ‘बैठाने’ के लिए लोपिता के पास पहुंच रही हैं.

लोपिता के अनुसार नाखूनों को सजाने के लिए छोटे बिच्छुओं का चयन किया जाता है जिनकी उम्र एक सप्ताह तक होती है. इन छोटे बिच्छुओं को कीड़े मारने वाले जहर का छिड़काव करके मार दिया जाता है और फिर धोने और अन्य कई चरणों से गुजारने के बाद तरल एकरिलक में डुबो कर नाखूनों पर चिपका दिया जाता है.

दिलचसप बात बिच्छुओं का डंक अलग नहीं किया जाता है क्योंकि डंक ही बिच्छुओं की सुन्दरता है. मारे जाने के बाद भी बिच्छुओं में ज़हर इसी तरह होता है. नाखूनों की सजावट के लिए लोपिता Centruroides Suffusus  पीढ़ी से संबंधित बिच्छुओं का उपयोग करती हैं जो पीले और काले रंग के होते हैं. और नाखून पर चिपकाए  जाने के बाद मन को भाते हैं।

nail-faishon--2

दोरांगो सिटी बिच्छू बड़ी संख्या में पाए जाते हैं. इसीलिए वहां बिच्छू के जहर से मानव मौतों की दर भी ऊंची है. एक रिपोर्ट के अनुसार पिछले साल उत्तरी मेक्सिको में स्थित इस शहर में एक हजार से अधिक लोग बिच्छुओं के डंक का निशाना बन कर मौत के मुंह में चले गए थे.

लोपिता भी बचपन से बिच्छुओं से परिचित थी. दूसरों की तरह बिच्छुओं से भय खाने के बजाय वह उन में बड़ा दिलचसपी लेती थी. यही कारण है कि सजावटी शिल्प कला में महारत हासिल कर लेने के बाद उसने उनकी तैयारी में मृत बिच्छुओं का उपयोग शुरू कर दिया था. लोपिता कहती है  ” ज्यादातर लोग बिच्छुओं से आतंकित हो जाते हैं, लेकिन मुझे लगता है यह कुदरत का एक बहुत ही सुन्दर रचना है  इसी लिए मैं हमेशा इन कीड़ों के सजावटी उपयोग करने के नित नए उपाय किए मगर नाखूनों की सजावट में उन्हें इस्तेमाल करने सुझाव सबसे लोकप्रिय हुआ है. ‘

WATCH VIDEO OF DEKHO NORTHEAST

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button