शिलोंग
मेघालय के पूर्वी जयन्तिया हिल्स जिले में एक गुफा के भीतर अंधी मछली की एक नई प्रजाति का पता चला है। न्यूजीलैंड की विज्ञान पत्रिका जूटैक्सा में इस खोज का खुलासा किया गया है। पत्रिका में कहा गया है कि स्किस्तुरा लार्केटेंसिस मछली को यह नाम लार्केट गांव में मिला है जहां यह मछली पाई गई।
गौहाटी विश्वविद्यालय और नर्दन ईस्टर्न हिल विश्वविद्यालय ने कहा है कि इस प्रजाति की मछलियों ने गुफा के भीतर हमेशा रहने वाले अंधेरे के कारण अपनी आंखों की रोशनी खो दी। उन्होंने बताया कि डार्क वाटर्स में रहने के कारण इन मछलियों ने अपनी रंगत भी खो दी है।
गौहाटी विश्वविद्यालय के प्रमुख शोधकर्ता खलर मुखिम को एक अभियान के दौरान कई वर्षों पहले गुफा में अंधी मछली के बारे में पता चला। यह गुफा समुद्र की सतह से करीब 880 मीटर ऊपर है और लंबाई में सात किलोमीटर से अधिक है। मुखिम ने कहा कि यह अध्ययन हाल ही में सामने आया क्योंकि उन्हें इन तथ्यों की पुष्टि करने मे काफी वक्त लग गया कि यह मछली वास्तव में अंधी है और यह एक नई प्रजाति की मछली है।
उन्होंने कहा कि इस मछली का नाम ‘लार्केट गांव के नाम पर रखा गया ताकि स्थानीय लोगों को जैवविविधता संरक्षण के प्रति प्रेरित किया जा सकें।शोधकर्ता के अनुसार, भारत-चीन और दक्षिणपूर्व एशिया में झीलों और नदियों में रहने वाले इस तरह की 200 प्रजातियां हैं लेकिन यह इस तरह की पहली खोज है।