गुवाहाटी
असम सरकार ने रविवार को जनसंख्या नीति का मसौदा घोषित किया जिसमें कहा गया है कि दो से अधिक बच्चे वाले लोगों को सरकारी नौकरी नहीं दी जाएगी। इसके अलावा राज्य में लड़कियों के लिए विश्वविद्यालय स्तर तक निःशुल्क शिक्षा की बात कही गई है।
स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हिमंत विश्व शर्मा ने प्रेस कांफ्रेंस में कहा, “हमने जनसंख्या नीति के मसौदे में सुझाव दिया है कि जिन लोगों के दो से अधिक बच्चे होंगे उन्हें सरकारी नौकरी के योग्य नहीं माना जाएगा|”
इस शर्त को पूरा करने के बाद सरकारी नौकरी पाने वाले प्रत्येक व्यक्ति को नौकरी की समाप्ति तक इस शर्त का पालन करना होगा। राज्य चुनाव आयोग द्वारा कराए जाने वाले पंचायत और नगरपालिका चुनाव के उम्मीदवारों पर भी यह नियम लागू होगा।
मंत्री ने बताया कि बाल विवाह करने वाले लोग भी सरकारी नौकरी के लिए अयोग्य होंगे| यानी 18 साल की लड़की और 21 साल के लड़के की शादी होने पर उन्हें भी सरकारी नौकरी से वंचित होना पड़ेगा और इसकी भी व्यवस्था होगी कि निर्धारित उम्र से कम के लड़के-लड़कियों की शादी कराने वाले और उनके अभिभावकों पर आपराधिक कार्रवाई की जाएगी| इस नीति में राज्य जनसंख्या परिषद और राज्य जनसंख्या शोध केंद्र के गठन का भी प्रस्ताव किया गया है।
उन्होंने कहा कि इस संबंध में सरकार आम लोगों से सुझाव चाहती है और अगले 15 जुलाई तक कोई भी नागरिक अपना सुझाव दे सकता है| उसके बाद विधानसभा में मसौदा रखा जाएगा और उसके बाद विस्तृत चर्चा करने के बाद प्रस्ताव लिया जाएगा|
भाजपा ने अपने चुनावी घोषणा-पत्र में राज्य की जनता से नई जनसँख्या नीति का वादा किया था|